लखनऊ, 15 जुलाई (युआईटीवी/आईएएनएस)- शुक्रवार को चंद्रयान-3 का सफल प्रक्षेपण किया गया है। इसकी सफलता को लेकर पूरे देश में जश्न का माहौल है। हालांकि, यह जश्न लखनऊ में कुछ खास है क्योंकि इस शहर की बेटी रितु कारीधाल इस मिशन का अहम हिस्सा हैं।
जैसे ही यान का प्रक्षेपण किया गया वैसे ही राजाजीपुरम स्थित रितु कारीधाल के भाई रोहित के घर पर आसपास लोग जुट गए।
पड़ोस के लोग मिठाईयां लेकर बधाई देने उनके पहुंचे। व्यंग्यकार और रोहित के पारिवारिक मित्र अनूप मणि त्रिपाठी इस खुशी का हिस्सा बने। उन्होंने कहा कि यह क्षण बहुत गर्व का है। यह मिशन बहुत अहम है। दीदी के पास बड़ी जिम्मेदारी रही, इसलिए ज्यादा कुछ कहना ठीक नहीं है। बस उनका संदेश आया है कि अभी असली परीक्षा बाकी है, मिलकर सब प्रार्थना करो।
दीदी दरअसल बहुत शांत और ईश्वर में आस्था रखने वाली हैं। हम सब यही प्रार्थना करते हैं कि जिस मकसद से चंद्रयान को छोड़ा गया है, वो उसमें कामयाब हो। परिजनों से मिली जानकारी के अनुसार, चंद्रयान-3 की लैंडिंग की जिम्मेदारी इस बार वरिष्ठ महिला वैज्ञानिक डॉ. रितु कारीधाल को सौंपी गई है और वह चंद्रयान-3 की मिशन डायरेक्टर हैं।
इसके पहले डॉ. रितु कारीधाल मंगलयान की डिप्टी ऑपरेशन डायरेक्टर और चंद्रयान-2 में मिशन डायरेक्टर रह चुकी हैं। इस बार चंद्रयान-3 में ऑर्बिटर नहीं बल्कि एक प्रोपल्शन मॉड्यूल है, जो किसी संचार उपग्रह की तरह काम करेगा। रितु कारीधाल लखनऊ के राजाजीपुरम की रहने वाली हैं। उन्होंने वर्ष 1991 में लखनऊ विश्वविद्यालय में बीएससी भौतिक विज्ञान में प्रवेश लिया था।
फिर 1996 में एमएससी भौतिक विज्ञान की डिग्री पूरी की। वह शुरू से ही मेधावी छात्रा रहीं। उनकी रुचि स्पेस फिजिक्स में थीं। उसके बाद उन्होंने पीएचडी भौतिक विज्ञान में भी प्रवेश लिया, लेकिन छह महीने के बाद ही वर्ष 1997 में उनका चयन इसरो में हो गया, जिसकी वजह से वह पीएचडी नहीं पूरी कर पाईं थीं। लखनऊ विश्वविद्यालय ने अपनी पूर्व छात्रा रितु कारीधाल को वर्ष 2019 के दीक्षा समारोह में मानद उपाधि से सम्मानित किया था।
