वैशाली रमेशबाबू (तस्वीर क्रेडिट@hdmalhotra)

वैशाली रमेशबाबू और आनंदकुमार वेलकुमार की ऐतिहासिक उपलब्धि पर देशभर में गर्व,नेताओं ने दी शुभकामनाएँ

नई दिल्ली,16 सितंबर (युआईटीवी)- भारत के खेल जगत के लिए सोमवार का दिन ऐतिहासिक और गौरवशाली रहा। एक ओर शतरंज की दुनिया में ग्रैंडमास्टर वैशाली रमेशबाबू ने लगातार दूसरी बार फिडे महिला ग्रैंड स्विस 2025 खिताब जीतकर देश का नाम रोशन किया,तो दूसरी ओर स्पीड स्केटिंग में आनंदकुमार वेलकुमार ने भारत को उसका पहला विश्व चैंपियनशिप स्वर्ण पदक दिलाकर इतिहास रच दिया। इन दोनों उपलब्धियों ने न केवल खेल जगत बल्कि पूरे देश को गर्व से भर दिया है। इन शानदार सफलताओं पर केंद्रीय नेतृत्व ने भी खुलकर खिलाड़ियों को बधाई दी और उनके समर्पण,दृढ़ता और कौशल की सराहना की।

स्पीड स्केटिंग में भारत का नाम लिखने वाले 22 वर्षीय आनंदकुमार वेलकुमार ने चीन में आयोजित स्पीड स्केटिंग वर्ल्ड चैंपियनशिप 2025 के सीनियर पुरुष 1,000 मीटर स्प्रिंट में गोल्ड मेडल जीतकर इतिहास रच दिया। यह भारत का इस खेल में पहला स्वर्ण पदक है। आनंदकुमार ने 1:24.924 मिनट का असाधारण समय निकालते हुए यह उपलब्धि हासिल की। यह प्रदर्शन न केवल उनके व्यक्तिगत करियर का सबसे बड़ा क्षण है,बल्कि भारत के खेल इतिहास में भी एक नए अध्याय की शुरुआत है। गौरतलब है कि इससे पहले भी आनंदकुमार ने 500 मीटर स्प्रिंट में ब्रॉन्ज मेडल जीतकर भारत को उसका पहला सीनियर वर्ल्ड चैंपियनशिप मेडल दिलाया था। यानी उन्होंने लगातार दो स्पर्धाओं में भारत का परचम ऊँचा किया है।

वहीं,दूसरी तरफ शतरंज की बिसात पर भारत की बेटी वैशाली रमेशबाबू ने अपनी अद्भुत रणनीतिक सोच और धैर्य का परिचय देते हुए फिडे महिला ग्रैंड स्विस 2025 खिताब लगातार दूसरी बार अपने नाम किया। यह जीत इसलिए भी खास है क्योंकि उन्होंने पूर्व महिला चैंपियन टैन झोंग्यी को अंतिम दौर में ड्रॉ पर रोकते हुए यह खिताब बरकरार रखा। उनकी इस सफलता से भारत ने न केवल विश्व शतरंज में अपना बढ़ता प्रभुत्व दर्ज कराया है,बल्कि उन्होंने 2026 महिला कैंडिडेट्स टूर्नामेंट में भी अपनी जगह पक्की कर ली है। वैशाली की यह उपलब्धि भारतीय शतरंज के लिए मील का पत्थर है,क्योंकि इससे देशभर में उभरते युवा खिलाड़ियों को नई ऊर्जा और प्रेरणा मिलेगी।

इन दोनों ऐतिहासिक सफलताओं पर केंद्र सरकार के वरिष्ठ नेताओं ने खिलाड़ियों की भरपूर सराहना की और उन्हें उज्जवल भविष्य के लिए शुभकामनाएँ दीं। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर आनंदकुमार को बधाई देते हुए लिखा, “भारत की स्वर्णिम उड़ान। 2025 विश्व चैंपियनशिप में सीनियर पुरुष 1,000 मीटर स्पीड स्केटिंग स्पर्धा में भारत का पहला स्पीड स्केटिंग गोल्ड मेडल जीतने पर आनंदकुमार वेलकुमार को बधाई। आपने अपने कौशल,चपलता और सटीकता से अनगिनत एथलीट्स के लिए एक प्रेरणादायक उदाहरण पेश किया है।” इसी तरह वैशाली रमेशाबू की उपलब्धि पर अमित शाह ने लिखा, “वैशाली रमेशाबू को लगातार दूसरी बार फिडे महिला ग्रैंड स्विस 2025 जीतने पर बधाई। आपके फोकस और रणनीतिक सोच ने आपको यह सम्मान दिलाया है। आपकी जीत विश्व शतरंज में भारत के बढ़ते प्रभुत्व का प्रमाण है। आपके शानदार करियर के लिए शुभकामनाएँ।”

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने भी इन खिलाड़ियों की सराहना करते हुए उन्हें भारत के गौरव का प्रतीक बताया। आनंदकुमार के बारे में उन्होंने लिखा, “स्पीड स्केटिंग विश्व चैंपियनशिप 2025 में स्वर्ण पदक जीतने वाले पहले भारतीय बनकर इतिहास रचने पर आनंदकुमार वेलकुमार को हार्दिक बधाई। सीनियर पुरुष 1000 मीटर स्प्रिंट का खिताब असाधारण समय के साथ जीतकर,उन्होंने देश को बेहद गौरवान्वित किया है। भारतीय खेलों के लिए यह एक ऐतिहासिक क्षण है,जो पीढ़ियों को प्रेरित करेगा। आने वाले वर्षों में उनके लिए और अधिक सफलता की कामना करता हूँ।” उन्होंने वैशाली की उपलब्धि की सराहना करते हुए कहा, “वैशाली रमेशबाबू को फिडे महिला ग्रैंड स्विस 2025 जीतने पर बधाई। लगातार दूसरी बार उनकी उल्लेखनीय उपलब्धि भारत के लिए गौरव का क्षण है। यह उनकी प्रतिभा,दृढ़ता और समर्पण का सच्चा प्रमाण है। मैं आगे की यात्रा में उनकी निरंतर सफलता की कामना करता हूँ।”

भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने भी इन दोनों खिलाड़ियों को अपनी शुभकामनाएँ दीं। उन्होंने आनंदकुमार के लिए लिखा, “चीन में 2025 में जारी विश्व रोलर स्पीड स्केटिंग चैंपियनशिप में 1,000 मीटर स्पर्धा में भारत के लिए पहला स्वर्ण पदक जीतने पर आनंदकुमार वेलकुमार को बधाई। आपकी कड़ी मेहनत और लगन ने वैश्विक मंच पर भारत का गौरव बढ़ाया है। यह उल्लेखनीय उपलब्धि कई युवा एथलीट्स को अपनी महत्वाकांक्षाओं को पूरा करने के लिए प्रेरित करेगी। आपके आगामी इवेंट्स के लिए शुभकामनाएँ। आप देश को और भी गौरवान्वित करते रहें।” इसी तरह वैशाली की सफलता पर उन्होंने लिखा, “वैशाली रमेशबाबू को 2025 फिडे महिला ग्रैंड स्विस जीतने पर हार्दिक बधाई। इस शानदार जीत के साथ,उन्होंने 2026 महिला कैंडिडेट्स में अपना स्थान पक्का कर लिया है। यह उपलब्धि उनके समर्पण और कौशल को दर्शाती है। वह देशभर के उभरते शतरंज खिलाड़ियों के लिए एक प्रेरणा हैं। आगामी टूर्नामेंट्स के लिए शुभकामनाएँ।”


इन दोनों खिलाड़ियों की सफलता भारत के खेल जगत में हो रहे निरंतर बदलाव और नई ऊँचाइयों की गवाही देती है। जहाँ आनंदकुमार ने एक अपेक्षाकृत कम लोकप्रिय खेल में अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर भारत का परचम लहराया है,वहीं वैशाली ने शतरंज जैसी बौद्धिक प्रतिस्पर्धा में विश्व मंच पर अपना दबदबा बनाए रखा है। दोनों ही खिलाड़ी न केवल अपने खेल में उत्कृष्टता के प्रतीक हैं,बल्कि आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणा स्रोत भी हैं।

भारत में खेलों का स्वरूप तेजी से बदल रहा है। पारंपरिक खेलों से आगे बढ़कर अब नए-नए खेलों में खिलाड़ी अपनी छाप छोड़ रहे हैं। यह बदलाव न केवल भारत की खेल संस्कृति को विविधता प्रदान कर रहा है,बल्कि वैश्विक मंच पर भी देश की पहचान मजबूत कर रहा है। आनंदकुमार और वैशाली जैसे खिलाड़ियों की उपलब्धियाँ इस बात का प्रमाण हैं कि भारत अब किसी एक या दो खेलों तक सीमित नहीं है,बल्कि हर क्षेत्र में अपनी मजबूत उपस्थिति दर्ज करा रहा है।

इन दोनों खिलाड़ियों की सफलता यह भी दर्शाती है कि समर्पण,मेहनत और लगन के बल पर कोई भी खिलाड़ी सीमाओं को तोड़कर विश्व पटल पर अपनी पहचान बना सकता है। भारत सरकार और विभिन्न खेल संस्थाओं का सहयोग भी इस बदलाव में अहम भूमिका निभा रहा है। केंद्र सरकार द्वारा लगातार खिलाड़ियों को प्रोत्साहन, संसाधन और अंतर्राष्ट्रीय स्तर की सुविधाएँ मुहैया कराई जा रही हैं,जिसका नतीजा आज विश्व चैंपियनशिप और ग्रैंड स्विस जैसी प्रतियोगिताओं में भारत की जीत के रूप में सामने आ रहा है।

वैशाली रमेशबाबू और आनंदकुमार वेलकुमार ने एक बार फिर यह साबित कर दिया है कि भारत की नई पीढ़ी किसी भी चुनौती का सामना करने और विश्व मंच पर अपनी छाप छोड़ने के लिए पूरी तरह तैयार है। उनकी उपलब्धियाँ न केवल देश के लिए गर्व का विषय हैं,बल्कि यह आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणादायक कहानियाँ भी बन गई हैं। आज पूरा देश उनके इस ऐतिहासिक प्रदर्शन पर गर्व कर रहा है और उम्मीद कर रहा है कि आने वाले वर्षों में भारत और भी अधिक स्वर्णिम क्षणों का साक्षी बनेगा।