अदाणी ग्रुप के चेयरमैन गौतम अदाणी और माइक्रोसॉफ्ट के चेयरमैन एवं सीईओ सत्य नडेला (तस्वीर क्रेडिट@gautam_adani)

अदाणी–नडेला मुलाकात से तेज़ हुआ भारत का एआई मिशन,माइक्रोसॉफ्ट के 17.5 अरब डॉलर निवेश से तकनीकी क्रांति की तैयारी

नई दिल्ली,10 दिसंबर (युआईटीवी)- भारत में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) और डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर के तेजी से बढ़ते बदलाव को एक और नई दिशा मिली है। अदाणी ग्रुप के चेयरमैन गौतम अदाणी और माइक्रोसॉफ्ट के चेयरमैन एवं सीईओ सत्य नडेला की मुलाकात ने न केवल कॉर्पोरेट जगत में उत्साह बढ़ाया है,बल्कि देश के एआई फर्स्ट भविष्य की ओर बढ़ते कदमों को और मजबूत किया है। बुधवार को गौतम अदाणी ने जानकारी देते हुए बताया कि वे सत्य नडेला से मिले और इस दौरान तकनीक के भविष्य,डिजिटल बदलाव और एआई की अपार क्षमताओं पर विस्तृत चर्चा हुई। यह मुलाकात ऐसे समय में हुई है,जब माइक्रोसॉफ्ट ने भारत में अगले चार वर्षों में 17.5 अरब डॉलर—यानी करीब 1.5 लाख करोड़ रुपए निवेश करने की घोषणा की है। यह निवेश एशिया में कंपनी का सबसे बड़ा निवेश माना जा रहा है।

गौतम अदाणी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर इस मुलाकात की जानकारी साझा करते हुए कहा कि नडेला के साथ बातचीत हमेशा प्रेरणादायक रही है। उन्होंने लिखा कि तकनीक के तेजी से बदलते इस दौर में,जहाँ फिजिकल और डिजिटल दुनिया बड़े पैमाने पर परिवर्तित हो रही है,माइक्रोसॉफ्ट और अदाणी ग्रुप की 360 डिग्री साझेदारी को आगे ले जाने की संभावना बेहद उत्साहजनक है। उन्होंने यह भी बताया कि नडेला ने उन्हें व्यक्तिगत रूप से तैयार किए जा रहे एआई ऐप्स का डेमो दिखाया,जो माइक्रोसॉफ्ट की हैंड्स-ऑन लीडरशिप का उत्कृष्ट उदाहरण है। गौतम अदाणी ने कहा कि एक महान लीडर की पहचान यही है कि वह तकनीक और नवाचार के हर पहलू में गहराई से जुड़ा रहता है।

इस मुलाकात का महत्व इसलिए भी बढ़ जाता है क्योंकि ठीक एक दिन पहले,मंगलवार को सत्य नडेला ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की थी। इस मुलाकात को भारत के तकनीकी भविष्य की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है। प्रधानमंत्री मोदी ने एक्स पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा था कि एआई के क्षेत्र में भारत पर दुनिया का भरोसा बढ़ रहा है और माइक्रोसॉफ्ट का बड़ा निवेश इस विश्वास को और मजबूत करता है। पीएम मोदी ने लिखा कि सत्य नडेला के साथ हुई बातचीत बेहद प्रोडक्टिव रही और भारत में एआई संबंधित नवाचारों को लेकर कंपनी का उत्साह प्रेरणादायक है। उन्होंने यह भी कहा कि माइक्रोसॉफ्ट द्वारा किए जा रहे इस निवेश से भारत के युवाओं को इनोवेशन की दिशा में नए अवसर मिलेंगे,जिससे वे एआई की शक्ति का उपयोग कर बेहतर भविष्य का निर्माण कर सकेंगे।

सत्य नडेला ने भी पीएम मोदी के साथ हुई बातचीत को ‘प्रेरणादायक’ बताते हुए कहा कि माइक्रोसॉफ्ट भारत की एआई महत्वाकांक्षाओं को पूरा करने की दिशा में पूरी तरह समर्पित है। उन्होंने बताया कि यह 17.5 अरब डॉलर का निवेश भारत में मजबूत एआई इंफ्रास्ट्रक्चर,स्किल डेवलपमेंट और देश की संप्रभु क्षमताओं को मजबूत करने के लिए किया जा रहा है। उनका कहना था कि भारत की डिजिटल इकोनॉमी तेजी से बढ़ रही है और माइक्रोसॉफ्ट इस विकास यात्रा में एक भरोसेमंद पार्टनर की भूमिका निभाना चाहता है।

माइक्रोसॉफ्ट का यह निवेश भारत को विश्वस्तरीय एआई हब बनाने में बड़ी भूमिका निभा सकता है। कंपनी की योजना है कि देश में बड़ी संख्या में डेटा सेंटरों का विस्तार किया जाए,जिससे क्लाउड कंप्यूटिंग सेवाओं को अधिक सुलभ और मजबूत बनाया जा सके। साथ ही माइक्रोसॉफ्ट भारतीय युवाओं और पेशेवरों को एआई, मशीन लर्निंग,साइबर सुरक्षा और क्लाउड तकनीकों में ट्रेनिंग देने के व्यापक कार्यक्रम पर काम कर रहा है। इससे भारत में डिजिटल रोजगार के नए अवसर पैदा होंगे और देश की तकनीकी क्षमता विश्व स्तर पर और भी मजबूत होगी।

अदाणी ग्रुप और माइक्रोसॉफ्ट के बीच पहले से कई परियोजनाओं पर साझेदारी चल रही है,जिसमें क्लाउड तकनीक,डिजिटल सेवाएँ और बड़े पैमाने पर तकनीकी नवाचार शामिल हैं,लेकिन एआई के इस नए युग में दोनों कंपनियों की साझेदारी का विस्तार भारत के औद्योगिक ढाँचे और डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन को एक नई ऊँचाई दे सकता है। अदाणी ग्रुप पहले ही स्मार्ट इंफ्रास्ट्रक्चर,डिजिटल सप्लाई चेन,डेटा प्रबंधन और नवीकरणीय ऊर्जा जैसे क्षेत्रों में उच्च तकनीकी समाधानों पर काम कर रहा है और माइक्रोसॉफ्ट की एआई विशेषज्ञता इस बदलाव को और तेज़ करने वाली है।

भारत में एआई की संभावनाएँ अत्यंत व्यापक हैं—चाहे वह हेल्थकेयर हो,कृषि क्षेत्र,लॉजिस्टिक्स,शिक्षा,स्मार्ट सिटी निर्माण या फिर साइबर सुरक्षा। माइक्रोसॉफ्ट के निवेश के बाद इन सभी क्षेत्रों में एआई आधारित नवाचारों की गति कई गुना बढ़ सकती है। यह निवेश भारत को न केवल भविष्य की तकनीक का उपभोक्ता बनाता है,बल्कि उसे तकनीक का निर्माता और निर्यातक देश बनने का अवसर भी देता है।

सत्य नडेला और गौतम अदाणी की मुलाकात भारत के तकनीकी परिदृश्य में एक महत्वपूर्ण क्षण के रूप में देखी जा रही है। यह बातचीत सिर्फ दो उद्योगपतियों की मुलाकात नहीं है,बल्कि भारत के डिजिटल परिवर्तन की नई कहानी की शुरुआत है। माइक्रोसॉफ्ट के बड़े निवेश और अदाणी ग्रुप की तकनीक आधारित दृष्टि के साथ भारत निश्चित रूप से वैश्विक एआई दौड़ में अपनी मजबूत उपस्थिति दर्ज करा सकता है। आने वाले वर्षों में यह साझेदारी भारतीय अर्थव्यवस्था,उद्योग और युवा पीढ़ी को नई दिशा देने में अहम भूमिका निभाने वाली है।