मॉस्को,19 सितंबर (युआईटीवी)- रूस के सुदूर पूर्वी इलाके कामचटका प्रायद्वीप में शुक्रवार को एक शक्तिशाली भूकंप ने लोगों को दहला दिया। रूस की स्टेट जियोफिजिकल सर्वे के अनुसार,इस भूकंप की तीव्रता 7.4 दर्ज की गई। इसकी सूचना मिलते ही पूरे क्षेत्र में अलर्ट घोषित कर दिया गया और प्रशासन ने तुरंत आपातकालीन कदम उठाने शुरू कर दिए। प्रारंभिक रिपोर्टों में राहत की बात यह है कि किसी बड़े नुकसान या जनहानि की पुष्टि नहीं हुई है,लेकिन खतरा टला नहीं है क्योंकि तटीय क्षेत्रों में सुनामी की आशंका जताई जा रही है।
समाचार एजेंसी सिन्हुआ ने रूस एकेडमी ऑफ साइंसेज के जियोफिजिकल सर्वे की कामचटका शाखा के हवाले से बताया कि भूकंप का केंद्र क्षेत्रीय राजधानी पेत्रोपावलोवस्क-कामचत्स्की से लगभग 149 किलोमीटर दूर स्थित था। यह झटका स्थानीय समयानुसार शाम 6 बजकर 58 मिनट पर दर्ज किया गया और इसकी गहराई 39 किलोमीटर मापी गई। भूकंप इतना तेज था कि आसपास के क्षेत्रों में लोग अपने घरों और इमारतों से घबराकर बाहर निकल आए। कई इलाकों में बिजली आपूर्ति और दूरसंचार पर अस्थायी असर पड़ा,हालाँकि अधिकारियों ने इसे जल्द ही बहाल करने की कोशिशें शुरू कर दीं।
कामचटका प्रायद्वीप के गवर्नर व्लादिमीर सोलोदोव ने टेलीग्राम पर एक पोस्ट में पुष्टि की कि भूकंप के बाद तत्काल सुनामी चेतावनी जारी कर दी गई है। उन्होंने कहा कि तटीय इलाकों के निवासियों को सतर्क रहने और सुरक्षित स्थानों पर जाने की सलाह दी गई है। गवर्नर के अनुसार,आपातकालीन सेवाओं को हाई अलर्ट पर रखा गया है और राहत व बचाव दलों को सक्रिय कर दिया गया है। उन्होंने यह भी बताया कि सामाजिक सुविधाओं,स्कूलों,अस्पतालों और आवासीय भवनों का निरीक्षण तेजी से किया जा रहा है,ताकि किसी तरह की दरारों या ढाँचागत नुकसान की स्थिति को समय रहते संभाला जा सके।
गवर्नर सोलोदोव ने एक अपडेट में बताया कि हाइड्रोमेट्रोलॉजिकल अधिकारियों ने अनुमान जताया है कि प्रायद्वीप के कुछ तटीय क्षेत्रों में 1.5 मीटर तक ऊंची लहरें उठ सकती हैं। हालाँकि,घनी आबादी वाले पेत्रोपावलोवस्क क्षेत्र में लहरों की ऊँचाई 0.1 मीटर से कम रहने का अनुमान लगाया गया है। इस अनुमान से स्थानीय निवासियों को थोड़ी राहत जरूर मिली है,लेकिन अधिकारियों का कहना है कि एहतियात के तौर पर लोगों को सावधानी बरतनी ही होगी।
भूकंप के बाद कामचटका प्रायद्वीप में लगातार आफ्टरशॉक्स महसूस किए गए हैं। जियोफिजिकल सर्वे के अनुसार,अब तक कम-से-कम 10 झटके दर्ज किए जा चुके हैं,जिनकी तीव्रता 5 या उससे अधिक रही। विशेषज्ञों का कहना है कि इतने शक्तिशाली भूकंप के बाद आफ्टरशॉक्स का आना सामान्य बात है,लेकिन इनमें से कई झटके फिर से नुकसान का कारण बन सकते हैं। इस वजह से स्थानीय लोगों में भय का माहौल बना हुआ है। कई इलाकों में लोग घरों में लौटने से कतरा रहे हैं और सुरक्षित खुले स्थानों में रात बिताने की तैयारी कर रहे हैं।
दूरस्थ और ज्वालामुखीय गतिविधियों के लिए प्रसिद्ध कामचटका क्षेत्र पिछले दो महीनों से बार-बार शक्तिशाली भूकंपों का सामना कर रहा है। हाल ही में यहाँ 8.8 तीव्रता का एक भीषण भूकंप दर्ज किया गया था,जबकि 7.4 तीव्रता के दो अन्य भूकंप भी आ चुके हैं। लगातार आने वाले इन झटकों ने स्थानीय आबादी को चिंता में डाल दिया है और विशेषज्ञ भी इस बात पर शोध कर रहे हैं कि आखिर इस क्षेत्र में इतनी तीव्र भूकंपीय गतिविधियाँ क्यों हो रही हैं।
भूकंप के चलते रूस का यह इलाका वैश्विक सुर्खियों में है। कामचटका प्रायद्वीप पहले से ही प्रशांत महासागर की “रिंग ऑफ फायर” का हिस्सा है,जहाँ ज्वालामुखी विस्फोट और भूकंप आम घटनाएँ हैं,लेकिन लगातार बढ़ती तीव्रता ने खतरे का स्तर और भी गंभीर बना दिया है। विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि आने वाले दिनों में स्थिति पर करीबी नजर रखना बेहद जरूरी होगा।
फिलहाल प्रशासन और आपातकालीन सेवाएँ सक्रिय हैं। राहत दल तटीय इलाकों में तैनात कर दिए गए हैं और लोगों को ऊँचे क्षेत्रों में जाने का निर्देश दिया जा रहा है। कामचटका के लोग एक और कठिन परीक्षा से गुजर रहे हैं,लेकिन अधिकारियों का दावा है कि वे पूरी तरह सतर्क हैं और किसी भी आपदा से निपटने के लिए तैयार हैं।
