मुंबई, 5 मार्च (युआईटीवी/आईएएनएस)| एक कृषि पैनल ने शुक्रवार को महाराष्ट्र में कृषि संकट को रोकने और राज्य में किसानों की आत्महत्याओं को समाप्त करने के उद्देश्य से 10 सूत्रीय कार्यक्रम पेश किया। वसंतराव नायक शेती स्वावलंबन मिशन (वीएनएसएसएम) के अध्यक्ष किशोर तिवारी ने औपचारिक रूप से मुख्य सचिव सीताराम कुंटे को 10 सूत्रीय चार्टर सौंपा।
तिवारी ने बैठक के बाद आईएएनएस को बताया कि उनकी ओर से, कुंटे ने कृषि विभाग को प्राथमिकता के आधार पर आवश्यक उपाय शुरू करने का निर्देश दिया।
राज्य के विदर्भ, मराठवाड़ा और खानदेश क्षेत्र पिछले लगभग 25 वर्षों से एक गंभीर कृषि संकट की चपेट में हैं, जिससे हजारों कृषकों को आत्महत्या करने के लिए मजबूर होना पड़ा और यह सिलसिला अब भी जारी है।
तिवारी ने कुंटे से कहा, “उपायों, सरकारों द्वारा राहत पैकेज या लगातार पांच लाख करोड़ रुपये की कर्जमाफी देने के बावजूद मूल मुद्दे अछूते हैं और किसानों की समस्याएं दूर करने के लिए इनसे निपटने की जरूरत है।”
10 सूत्रीय कार्यक्रम में शामिल हैं : राज्य इनपुट लागत में कमी और उत्पादन लागत हस्तक्षेप से निपटेगी, स्थानीय और वैश्विक बाजार की मांग के अनुसार फसल पैटर्न में बदलाव, नई कृषि ऋण नीति में क्रेडिट-साइकल की लगातार विफलता रोकना, माध्यमिक आजीविका प्रबंधन आय गतिविधि, सिंचाई, जल संरक्षण, मृदा स्वास्थ्य पुनरुद्धार के मुख्य मुद्दे, प्रभावी फसल बीमा और जलवायु परिवर्तन के मुद्दे के साथ उचित जोखिम प्रबंधन।
तिवारी ने कहा कि पिछले 25 वर्षों में अनुमानित 35,000 से अधिक किसानों, जिनमें कई महिलाएं शामिल हैं, ने आत्महत्या का सहारा लिया है क्योंकि वे लंबित ऋणों का बोझ नहीं उठा सकते थे। राज्यभर में खुदकुशी करने वाले किसान बड़ी संख्या में निराश्रित विधवाओं और अनाथों को पीछे छोड़ गए।