नई दिल्ली, 24 मई (युआईटीवी)- 22 अप्रैल, 2025 को पहलगाम में हुए विनाशकारी आतंकवादी हमले के जवाब में,जिसमें 26 नागरिकों की जान चली गई थी। भारत ने ऑपरेशन सिंदूर नामक एक व्यापक राजनयिक मिशन शुरू किया है। इस पहल का उद्देश्य सीमा पार आतंकवाद में पाकिस्तान की लंबे समय से चली आ रही संलिप्तता को उजागर करना और ऐसी गतिविधियों के खिलाफ अंतर्राष्ट्रीय समर्थन जुटाना है।
इस मिशन के तहत,एक सर्वदलीय भारतीय प्रतिनिधिमंडल,जिसमें विभिन्न राजनीतिक पृष्ठभूमि के सदस्य शामिल हैं,जिसमें डीएमके सांसद कनिमोझी,भाजपा सांसद और पूर्व सेना अधिकारी कैप्टन ब्रिजेश चौटा और समाजवादी पार्टी,नेशनल कॉन्फ्रेंस,आरजेडी और आप के प्रतिनिधि शामिल हैं। रूस,स्लोवेनिया,ग्रीस,लातविया और स्पेन सहित कई देशों की यात्रा पर गए हैं। प्रतिनिधिमंडल के साथ पूर्व राजनयिक मंजीव पुरी और जावेद अशरफ भी हैं।
विदेश मंत्रालय (एमईए) ने इस बात पर जोर दिया कि यह संपर्क चार दशकों से अधिक समय से चल रहे सीमा पार आतंकवाद के लिए पाकिस्तान को जवाबदेह ठहराने की व्यापक रणनीति का हिस्सा है। विदेश मंत्रालय ने कहा, “अब पाकिस्तान को जवाबदेह ठहराने का समय आ गया है।” आतंकवाद के खिलाफ भारत के दृढ़ रुख और वैश्विक सुरक्षा हितों को बढ़ाने की उसकी प्रतिबद्धता को रेखांकित करते हुए।
यह कूटनीतिक प्रयास पहलगाम हमले के बाद भारत की सैन्य प्रतिक्रिया के बाद किया गया है,जिसमें पाकिस्तान के भीतर आतंकवादी ढाँचे को निशाना बनाकर मिसाइल और ड्रोन हमले शामिल थे। ऑपरेशन सिंदूर नाम के इस अभियान का उद्देश्य हमले के लिए जिम्मेदार आतंकी नेटवर्क को खत्म करना था।
भारत का सक्रिय दृष्टिकोण आतंकवाद के विरुद्ध एकजुट मोर्चा प्रस्तुत करना तथा यह सुनिश्चित करना है कि अंतर्राष्ट्रीय समुदाय पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवादी गतिविधियों से उत्पन्न खतरों को पहचाने तथा उनका समाधान करे।